Effect of Thought
Effect of Thought (विचारो का प्रभाव)
जो आज आप है वे आप अपने विचारो के प्रभाव से है
-गोतम बुद्द
वास्तव मे इसी कारण की वजह से गरीब और गरीब ,धनवान और धनवान बनता जा रहा है क्योकि गरीब परिवेश मे रह रहे लोग को निरन्तर ये समाज और खुद उनका परिवेश उन्हे हमेशा गरीबी का येहसास कराता है तथा वे न चाहते हुए भी अपने विचारो को गरीबी की दिशा मे ले जाते है और उन्हे परिणामस्वरुप उन्हे वही प्राप्त होता है पर दोस्तो कुछ लोगो को ये पडने मे थोडा अटपटा जरुर लगेगा कोई व्यकित गरीबी नही चाहता है पर मे आप से साफ-साफ कह दू कि कोई व्यकित गरीबी चाहता है तो ही उसे गरीबी मिलती है या फिर दूसरी भाशा मे गरीब गरीबी नही चाहता/इच्छा पर दोस्तो आपकी चाहत/इच्छा का मुख्य स्रोत आपका अपना विचार है जिस प्रकार पेड पर लगे हुए फल मुख्य तोर पर जड पर निभ्र्र करते है तथा जड मे अच्छे खाध्य पदाथ देकर अच्छे फल व खराब खाध्य पदाथ देकर खराब फल प्राप्त करते है उसी प्रकार इस लेख मे विचार(जड) इच्छा(फल) है.
इसके विपरीत धनवान और धनवान होता जाता है क्योकि धनवान व्यकिती हमेशा धन के बारे मे अधिक्तर विचार करता है और प्रतिक्रिया स्वरुप उन्हे प्राप्त करने के नये-नये स्रोत प्राप्त कर और धनी बन जाते है
पर कुछ लोग अपने विचारो को परिवरतित कर नई-नई उपल्बधिया अर्जित की जैसे मे Shaddi.com के Office का छोटू चायवाला आज उसी कम्पनी मे Web devloper का job कर रहा है तथा आज धन का अच्छा स्रोत प्राप्त कर वे इसी तरह निरन्तर आगे बडने की और कोशिश मे लगा हुआ है पर दोस्तो उन हजारो मे से मै सिर्फ एक छोटू चायवाला की बात कर रहा हू पर आज येसे अनेक छोटू चायवाला है तो दोस्तो अगर आप जो भी वर्ग से हो गरीब,मध्य्म या धनवान इससे आप को कोई भी फर्क नही पडता फर्क पडता है तो सिर्फ आपके अपने विचारो से,इसलिए दोस्तो आज अभी से अपने विचारो के प्रति सवेदनशील व सतर्क रहे.
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